विपक्ष ने संसद नहीं चलने देने का मन बनाया
संसद का मानसून सत्र आज से शुरू हो रहा है। सत्र के हंगामेदार रहने के आसार हैं। पहले दिन ही मणिपुर को लेकर विपक्षी दलों का हंगामा देखने को मिला। दूसरी ओर सरकार का दावा है कि वह सभी मामलों पर चर्चा को तैयार है। सरकार मणिपुर पर भी चर्चा करना चाहती हैं। हालांकि विपक्षी दलों के हंगामे की वजह से दोनों सदनों को स्थगित करना पड़ा। इन सब के बीच राज्यसभा में सदन के नेता और केंद्रीय मंत्री पीयूष गोयल ने विपक्षी दलों पर निशाना साधा है। उन्होंने साफ तौर पर कहा है कि विपक्ष संसद को नहीं चलने देने का मन बना चुका है।
पीयूष गोयल ने क्या कहा
अपने बयान में पीयूष गोयल ने कहा कि आज सदन की कार्रवाई और व्यापार सलाहकार समिति की बैठक में विपक्ष का रवैया देखकर ये स्पष्ट हो जाता है कि वो मन बनाकर आए थे कि सदन की कार्रवाई नहीं चलने देंगे। उन्होंने कहा कि शायद उनको परेशानी है कि प.बंगाल में जिस प्रकार से हिंसा की घटनाएं हुई हैं और छत्तीसगढ़ व राजस्थान में नारी शक्ति का बहुत ही दुर्भाग्यपूर्ण परिस्थितियां हैं ऐसे में सरकार ने जब स्पष्ट कर दिया कि हम मणिपुर की घटनाओं पर चर्चा करने के लिए तैयार हैं उसके बावजूद कांग्रेस और बाकि विपक्षी दल सदन की कार्रवाई को रोका। ये स्पष्ट करता है कि विपक्ष सदन की कार्रवाई को चलने नहीं देना चाहती है। हाल ही में निधन हुए सदन के सदस्यों के सम्मान में लोकसभा की कार्यवाही दोपहर 2 बजे तक के लिए स्थगित कर दी गई है। वहीं, मणिपुर की स्थिति पर चर्चा की मांग को लेकर हंगामे के बीच राज्यसभा दोपहर दो बजे तक के लिए स्थगित कर दी गई।
राज्यसभा में हंगामा
मणिपुर हिंसा पर राज्यसभा में हंगामा हो गया है। सदन में बोलते हुए कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने दावा किया कि मणिपुर में “मानवता मर गई है”। राज्यसभा सांसद व वरिष्ठ अधिवक्ता कपिल सिब्बल ने कहा कि मणिपुर की घटना को लेकर प्रधानमंत्री ने चुप्पी तोड़ी जो अच्छी बात है लेकिन मणिपुर में अब तक जो हुआ, जो लूट मची, मणिपुर जल रहा था, इतनी बर्बरता हुई थी तब प्रधानमंत्री ने चुप्पी क्यों साधी हुई थी?