देसी शराब की दुकानों को ग्राम सभा से हटाए जाने के लेकर ग्रामीणों ने शुरू किया अनिश्चितकालीन धरना

जन एक्सप्रेस/संवाददाता
बाराबंकी। नवाबगंज तहसील के दो शासकीय स्कूल व एक निजी स्कूल के समीप संचालित देसी शराब की दुकानों से नाराज ग्रामीण बुधवार को अनिश्चितकालीन धरने पर बैठ गए। जिनके साथ बड़ी संख्या में महिलाएं भी शामिल रही। ग्रामीणों ने यह अनिश्चितकालीन धरना मैग्सेसे पुरस्कार से सम्मानित सामाजिक कार्यकर्ता संदीप पांडेय के नेतृत्व में शुरू किया है। जिसकी सूचना गांधीवादी चिंतक राजनाथ शर्मा को लगने पर वह तत्काल ग्रामीणों के बीच धरने पर बैठ गए। उन्होंने कहा कि सोशलिस्ट पार्टी पहले भी शराब दुकान को हटाए जाने को लेकर आंदोलन करती रही है लेकिन प्रशासन अपने वायदे के अनुरूप नियत तिथि तक स्थल परिवर्तन करने में नाकाम रहा है।
शासन की मंशा दुकान हटाने की नहीं है। जिसमें अब एक सूत्री मांग प्रशासन के सामने ग्रामीणों है कि शराब की दुकान ग्राम सभा से तत्काल हटाई जाए। अगर प्रशासन ऐसा नहीं करता है तो उनका धरना प्रदर्शन जारी रहेगा। धरने के संयोजक सोशलिस्ट पार्टी के जिला अध्यक्ष अमित मौर्य ने बताया कि वर्ष 2021 में 5 अक्टूबर को जिलाधिकारी को पत्र लिखकर शराब दुकान को हटाए जाने की मांग की थी। जिस पर कोई कार्रवाई न होने पर 7 जून 2022 को शराब की दुकान की जगह परिवर्तन की मांग पर ग्रामीण धरने पर बैठ गए।
जिला प्रशासन से मिले आश्वासन पर सहमति जताते हुए सब ने धरना समाप्त कर दिया। लेकिन प्रशासन के तरफ से कोई कार्रवाई नहीं हुई। फिर बीती 3 जनवरी को फिर जिलाधिकारी को पत्र लिखकर बताया कि स्कूल जाने वाले बच्चों पर शराब दुकान के शराबियों द्वारा की जाने वाली आपत्तिजनक हरकतें व अब शब्द कहते हैं जिसके लिए दुकान को हटाया जाना आवश्यक है।
लेकिन प्रशासन की तरफ से कोई कार्रवाई नहीं की गई। जिससे नाराज ग्रामीण अनिश्चितकालीन धरने पर बैठ गए। इस मौके पर उमानाथ यादव, बबली वर्मा, विनोद कुमार, बाबूलाल, जितेंद्र मौर्य, राकेश वर्मा, अरविंद वर्मा, ज्योति यादव, सरिता, कोमल, सुषमा, पूनम देवी सहित बड़ी संख्या में ग्रामीण पुरुष- महिलाएं उपस्थित रहे।






