15 घंटे प्रभावित रहा मानिकपुर-इंटवा डुड़ैला मार्ग,रेलवे की लापरवाही बनी आफत
ओवरब्रिज तो स्वीकृत लेकिन बनेगा कब ?
रेलवे प्रशासन की लापरवाही से आएदिन लग रहा लंबा जजिम्मेदार बने अंजान
- टिकरिया रेलवे गेट की ध्वस्त सड़क पर फंस गया था ट्रक
रिपोर्ट- सचिन वन्दन
जन एक्सप्रेस । चित्रकूट
हावड़ा-मुंबई रेल मार्ग के मध्य टिकरिया रेलवे फाटक मे रेलवे ट्रैक के ऊपर बनी सड़क ध्वस्त हो जाने से आएदिन वाहन फंसकर क्षतिग्रस्त हो रहे हैं। ट्रकों के फंसने से वाहनों का लंबा जाम लग जाता है। बावजूद रेलवे प्रशासन अंजान बना हुआ है। इसमे सबसे बड़ी लापरवाही रेल प्रशासन की है। एक तो रास्ता खराह है दूसरा मार्ग बेहद संकरा होने से बड़ी समस्या हो रही है।मानिकपुर-इंटवा डुड़ैला मार्ग का चौड़ीकरण होने के बाद से इस रास्ते से वाहनों का आवागमन बढ गया है। दिन रात बराबर व्यापारिक वाहन निकल रहे हैं।
जबलपुर मण्डल के सतना- मानिकपुर रेलखंड के रेलवे गेट नंबर 400(टिकरिया फाटक) मे बुधवार को लोड ट्रक के फंसने से 15 घंटे तक लंबा जाम लगा रहा। मंगलवार की रात 10 बजे से बुधवार की दोपहर 1 बजे तक मानिकपुर-इंटवा डुड़ैला मार्ग का यातायात पूरी तरह से बाधित रहा। सूचना पर पहुंची मारकुंडी पुलिस के प्रयास से जब ट्रक को जेसीबी के माध्यम से किनारे किया गया, तब जाकर यातायात बहाल हो सका। दोनों तरफ से सैकड़ों वाहन फंसे रहे। जाम न खुलने से सैकड़ों वाहन चालकों को सड़क मे ही रात गुजारनी पड़ी। इस जाम मे एंबुलेंसों के फंसने से मरीज हलाकान होते रहे। इसके बाद भी रेलवे के जिम्मेदार अधिकारी उदासीन है। उल्लेखनीय है कि, एक हफ्ते के अंतराल मे दो बार जाम के झाम से लोगों को परेशानी उठानी पड़ी है। इसी जगह पर विगत दिनों ट्रक फंस गया था। अगर समय रहते रेलवे प्रशासन द्वारा ध्यान नहीं दिया गया तो आगे भी राहगीरों को भारी समस्याओं से जूझना पड़ेगा। इसी तरह से मारकुंडी रेलवे फाटक नंबर 402 की भी सड़क उखड़ जाने से आएदिन वाहन फंस रहे हैं। ओवरलोड वाहनों मे झटका लगने से जवाब दे रहे हैं। टिकरिया फाटक में ओवरब्रिज भी प्रस्तावित है लेकिन इसके नहीं बन पाने से मानिकपुर-इंटवा डुड़ैला मार्ग में सबसे ज्यादा समस्या टिकरिया फाटक में होती है। लगातार यह समस्या आने के बाद भी रेलवे कमियों को दूर करने के बजाय कुंभकर्णी निद्रा मे मस्त है।
रेल प्रशासन की लापरवाही बनी आफत
रेलवे विभाग की लापरवाही के चलते राहगीरों को बड़ी समस्याओं का सामना करना पड़ रहा है। रेलवे फाटक पर क्षतिग्रस्त मार्ग लोगों के लिए आफत बन गया है। यहां आएदिन वाहन बिगड़ जाते हैं। मार्ग संकरा होने से जाम की स्थिति बन जाती है। मंगलवार की रात 10 बजे से बुधवार की दोपहर 1 बजे तक मानिकपुर-इंटवा डुड़ैला मार्ग पूरी तरह से बाधित रहा। खराब ट्रक को को जेसीबी से उठाकर किनारे किया गया,तब जाकर यातायात बहाल हो पाया।
परेशान रहे स्कूली बच्चे
टिकरिया फाटक के पास लगे जाम में फंसे लोग खासे परेशान दिखाई दिए। सबसे अधिक परेशानी स्कूल लाने वाले छात्र व छात्राओं को हुई।
जाम के कारण विद्यार्थी बिलंव से स्कूल पहुंच सके। इसी के साथ कई एंबुलेंस गाड़ी भी फंसी रहीं। जिससे मरीज तड़पते रहे। लोगो का कहना है कि आए दिन इस फाटक पर जाम लगता रहता है।
ओवरब्रिज तो स्वीकृत लेकिन बनेगा कब ?
टिकरिया रेलवे गेट नंबर 400 मे ओवरब्रिज और मारकुंडी रेलवे फाटक क्रमांक-402 मे अंडरब्रिज के लिए स्वीकृति तो मिली लेकिन यहां “ऊपर से गिरा खजूर मे अटकने” वाली कहावत चरितार्थ हो रही है।
महीनों बीतने के बाद भी ओवरब्रिज का निर्माण शुरू नहीं हो पाया। कुल मिलाकर अभी सालों तक लोगों को इस समस्या से जूझना ही होगा। जबकि टिकरिया रेलवे क्रासिंग मे जल्द ही ओवरब्रिज बनाने की आवश्यकता है। मानिकपुर-इंटवा डुड़ैला मार्ग चौड़ा होने के बाद व्यापार की दृष्टि से बेहद महत्वपूर्ण मार्ग के रूप मे उभर रहा है। रेलवे फाटक बंद होने पर घंटों लोगों को इंतजार करना पड़ता है। लेकिन सवाल अब यह है कि ओवरब्रिज बनेगा कब?
रेलवे ट्रैक के ऊपर व दोनों ओर का मार्ग क्षतिग्रस्त
टिकरिया रेलवे फाटक क्रमांक-400 के ट्रैक के ऊपर से गुजरे मार्ग और पटरियों के दोनों तरफ की सीसी सड़क खराब होने से आएदिन ओवरलोड वाहन फंस जाने से जाम की स्थिति बन जाती है। इसी के साथ मारकुंडी रेलवे फाटक क्रमांक-402 की हालत भी कुछ इसी तरह है। ट्रैक के ऊपर बिखरी गिट्टी हादसे को आमंत्रण दे रही हैं। बावजूद जिम्मेदार उदासीन बने हैं।