उत्तराखंड

जिले के प्रभारी सचिव ने स्वयं सहायता समूहों के साथ किया संवाद

गोपेश्वर । चमोली जिले के प्रभारी सचिव दीपेन्द्र चौधरी ने अपने दो दिवसीय भ्रमण के दौरान रविवार को स्वयं सहायता समूहों के विभिन्न संगठनों के साथ संवाद किया और उनकी ओर से तैयार किए जा रहे उत्पादों अचार, जूस, मसाले, चटनी, मडुवा आदि को देखा।

उन्होंने कहा कि जनपद कृषि वानिकी वाला क्षेत्र है। किसानों की आय दोगुना करना और ग्रामीण क्षेत्रों की आर्थिकी को सुदृढ़ करना हमारी प्राथमिकता है। कृषि, बागवानी, डेयरी, मौन पालन तथा जड़ी बूटी उत्पादक कृषकों को आधुनिक तकनीक का इस्तेमाल करना चाहिए।

जो प्राकृतिक स्रोत है उनके संवर्धन के लिए चेक डेम, चाल-खाल बनाए जाए, वर्षा जल संचय किया जाये। इससे पीने के पानी की समस्या भी दूर होगी और सिंचाई के लिए भी इसका उपयोग किया जा सकेगा। साथ ही ऐसी प्रजातियों के पेड़ लगाए जाएं जो पानी को कंजर्व करते हैं। सगर में पहाड़ी फ्रूट प्रॉडक्शन और स्वयं सहायता समूहों की ओर निर्मित लेनटाना से बने उत्पादों, भोजपत्र बैजन्ती माला लेमन ग्रास ऑइल की सराहना की तथा उपस्थित उद्यमियों तथा महिलाओं से संवाद कर उनकी समस्याएं सुनी और सुझाव लिए।

उन्होंने कहा कि हमें पहाड़ी उत्पादों का उपयोग करने के लिए लोगों में जागरूकता लानी होगी ये स्वास्थ्य के लिए लाभकारी हैं और इससे स्थानीय उत्पादकों को रोजगार के साथ साथ उनकी आर्थिकी भी बढ़ेगी।

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button