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जानिए,ठंड बढ़ने पर या तेज हवा से महिलाओं की पुरानी चोट का दर्द क्यों बढ़ जाता है

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अक्सर यह बात कही जाती है कि पुरानी चोटें या घाव समय के साथ ठीक हो जाती हैं. लेकिन एक बात जो हमेशा आपने घर या अपने रिश्तेदारों के बीच सुना होगा कि मम्मी, आंटी, फुआ, मासी से सुना होगा कि ठंड में यह पुराना दर्द फिर से शुरू हो गया है. यह बात हैरान भी कर सकती है कि सालों पुराना दर्द ठंड बढ़ने के साथ या हवा चलने से कैसे वापस आ सकता है. आज आपको इस आर्टिकल के जरिए बताएंगे कि ठंड बढ़ने के कारण किन कारणों से पुरानी चोटों का दर्द बढ़ जाता है. हालांकि पुरानी चोटें ठीक हो सकती हैं, फिर भी मौसम ठंडा होने पर पहले से पुरानी चोटों या जोड़ों में अचानक दर्द शुरू हो सकता है. यहां हम आपको बढ़ते दर्द के पीछे के कारकों को समझने में मदद करेंगे. इंडिया टीवी में छपी खबर के मुताबिक हमारा शरीर कई तरह के स्ट्रेस जो झेलता है. जिसके कारण अक्सर मांसपेशियों और जोड़ों में दर्द महसूस होता है. यदि आपको किसी दुर्घटना के कारण र्थोपेडिक चोट लगी है, तो सर्दी के दौरान परेशानी बढ़ सकती है. जानिए इसके पीछे का कारण.

ठंड पड़ने से वातावरण पर तापमान गिरने लगता है. जिसके कारण दबाव बदल जाता है, जिससे आपके शरीर में तरल पदार्थ प्रभावित होता है, खासकर आपके घुटनों और टखनों के आसपास. जब ठंड होती है तो बैरोमीटर का वायुदाब तेजी से कम हो जाता है. दबाव में इस गिरावट के कारण घुटनों और टखनों के आसपास गैसें और तरल पदार्थ तेजी से फैलने लगते हैं. जैसे-जैसे ये तरल पदार्थ फैलते हैं, वे एकत्रित हो जाते हैं और नसों पर असुविधाजनक दबाव बनाते हैं, जिससे पुरानी चोटें फिर से शुरू हो जाती हैं.

आर्थोपेडिक चोटों से तंत्रिका संवेदनशीलता और तंत्रिका तंत्र में तनाव बढ़ जाता है. तापमान में गिरावट एक ट्रिगर के रूप में कार्य करती है, जो शरीर को संतुलन बनाए रखने के लिए प्रेरित करती है. बढ़ती संवेदनशीलता के कारण, नसें मौसम परिवर्तन पर तेजी से प्रतिक्रिया कर सकती हैं, जिसके परिणामस्वरूप पिछली चोटों से दर्द हो सकता है.

इस स्थिति में लाइफस्टाइल एक्टिव रखना बेहद जरूरी है. हर रोज व्यायाम करना मांसपेशियों की ताकत के पुनर्निर्माण के लिए आवश्यक है. सर्दियों के महीनों के दौरान, बहुत से लोग शारीरिक गतिविधि से बचते हैं. इस प्रकार, गति की कमी से जोड़ों, मांसपेशियों और ऊतकों में अकड़न हो सकती है, साथ ही पुरानी चोटें भी बढ़ सकती हैं जिससे असुविधा हो सकती है.

 

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